SINGRAULI NEWS : प्राप्त जानकारी के अनुसार उमेश इंटरप्राइजेज के संचालक दिनेश कुमार साहू ने एनसीएल अधिकारी अभिषेक त्रिपाठी की घूस मांगने की शिकायत रीवा लोकायुक्त विभाग से की थी।
जिसमें उमेश साहू ने बताया था कि एनसीएल परियोजना में उनकी वाहन संविदा पर लगी हुई है। जिसके 480000 बिल भुगतान और 36000 सिक्योरिटी मनी निकालने की एवज में एनसीएल अधिकारी द्वारा घूस की मांग की जा रही थी।
दिनेश साहू की शिकायत पर गंभीरता से संज्ञान लेते हुए रीवा लोकायुक्त की 12 सदस्यीय टीम ने आरोपी एनसीएल अधिकारी अभिषेक त्रिपाठी को उसके एनसीएल आवास से 12000 रुपये की घूस लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया।
बताते चलें कि एनसीएल दूधिचुआ परियोजना में कार्यरत असिस्टेंट मैनेजर अभिषेक त्रिपाठी को वेतन के रूप में लाखों रुपए मासिक मिलने के बावजूद रिश्वतखोरी की लत ने उसे सलाखों के पीछे पहुंचा दिया।
यह घटना एक बानगी भर है। यदि सघनता से जांच हो तो एनसीएल में संविदा पर लगी वाहन स्वामियों से चढ़ावे के रूप में बड़ा भ्रष्टाचार करने के घोटाले की बड़ा खुलासा हो सकता है।
इस पूरी कार्रवाई में मुख्य रूप से उप पुलिस अधीक्षक प्रवीण सिंह परिहार व राजेश पाठक, उपनिरीक्षक ऋतु शुक्ला, आकांक्षा पांडे, प्रधान आरक्षक मुकेश मिश्रा, पवन पांडे, आरक्षक शाहिद खान, सुजीत साकेत, सुभाष पांडे सहित 12 सदस्यीय टीम की भूमिका सराहनीय रही।
